एक कान से कम सुनाई देने का कारण वैसे तो एक आम समस्या है परंतु कई बार ये किसी बीमारी का संकेत भी हो सकता है यह किसी भी उमर के लोगो को हो सकती है, सुनाई न देने के कारण कई तरह के हो सकते है जैसे कुछ रोग, कुछ दवाइयों का असर, कुछ खराब आदतें, दिमागी समस्या या किसी प्रकार की बाहरी या अंदरूनी चोट, एक कान से कम सुनाई देने के कारण व्यक्ति को बात करने सुनने और समझने में परेशानी होती है, इससे व्यक्ति का जीवन भी प्रभावित होता है क्योंकि व्यक्ति को अपने आस पास के लोगो से बातचीत करने में मुश्किल होती है।
एक कान से कम या न सुनाई देने के दो प्रकार होते है:
1 कंडक्टिव हियरिंग लॉस
2 सेंसरीन्यूरल हियरिंग लॉस
कंडक्टिव हियरिंग लॉस तब होता है जब कान के बाहरी या बीच वाले हिस्से में कोई समस्या हो जाती है जिससे, ध्वनि तरंगें कान के अंदर तक नहीं पहुंच पाती है, इसके कई कारण हो सकते है जैसे कान में मैल के जमा होने से या संक्रमण या कान के परदे में छेद या कान की हड्डियों में कोई समस्या होने से भी कंडक्टिव हियरिंग लॉस हो सकता है।
सेंसरीन्यूरल हियरिंग लॉस तब होता है जब कान के अंदरूनी हिस्से में कोई समस्या हो जाती है जिससे ध्वनि तरंगों के इलेक्ट्रिक सिग्नल्स में बदलने वाली सुनने वाली कोशिकाएं या उनसे जुड़ी हुई नर्वस डैमेज हो जाती है। सेंसोरीन्यूरल हियरिंग लॉस होने के कई कारण हो सकते है जैसे बढ़ती उम्र, तेज आवाजों से घिरे रहना या कुछ बीमारियां जैसे डायबिटीज, मेनिनगिटिस, मीजल्स या कुछ दवाएं जैसे जेन्टामिसिन इंजेक्शन के कारण भी हो सकता है।
इसके अलावा एक कान से कम सुनाई देने के अनेकों कारण है जिन्हे आप आगे और डिटेल में जान सकते है
एक कान से कम सुनाई देने का कारण: reasons of hearing loss
1 समस्या या किसी तरह का संक्रमण:
कान में संक्रमण या अन्य रोगों की वजह से सुनने की क्षमता कम हो सकती है। हमारे कान में कई तरह के पार्ट्स होते है कान को कई हिस्सों में बाटा जाता है ऐसे में अक्सर कान के अंदर की श्रोणियों या अंगो में संक्रमण या सूजन के कारण भी एक कान से कम सुनाई देने की समस्या हो सकती है।
2 कान में कोई विकार:
बच्चे के जन्म से ही कई बार उसे ठीक से सुनाई नही देता इस तरह के जन्म से ही होने वाले विकार या किसी घातक घटना के कारण कान के अंदर की नाजुक अंगों में चोट पहुंच सकती है, जिससे सुनने की क्षमता पर बहुत गहरा असर होता है और एक कान से कम सुनाई देने की समस्या शुरू होती है।
3 कान के अंदर जमा कचरा या मैल:
कान के अंदर जमा होने वाले कचरे के कारण भी सुनने की क्षमता प्रभावित हो सकती है। आजकल हर व्यक्ति का जीवन काफी तनाव भरा है, व्यक्ति हर जगह से प्रदूषण से घिरा रहता है, प्रदूषण का धुआं व्यक्ति की कान में धीरे धीरे जमा होने लगता है और मैल के रूप में बैठ जाता है जिससे एक कान से थोड़ा कम सुनाई देता है।
4 बढ़ती उम्र:
ज्यादातर मामूली तरीके से, बढ़ती उम्र के साथ, कान की सुनने की क्षमता में धीरे-धीरे कमी आना सामान्य होता है। जब व्यक्ति वृद्ध अवस्था में पहुँचता है तब उसकी मसपेशिया, हड्डियां, और अन्य अंग जैसे आंखें या कानो से सुन्नी की शक्ति भी धीरे-धीरे कम होने लगती है, इसलिए बूढ़े व्यक्ति को केवल ऊंचा सुनाई देता है, आमतौर पर यदि व्यक्ति की उमर ज्यादा है तो एक कान से कम सुनाई देने की समस्या आम बात होती है।
5 ध्वनि प्रदूषण:
अधिक ध्वनि प्रदूषण वाले इलाकों में रहने से भी कान के सुनने की क्षमता प्रभावित हो सकती है। आजकल गांव शहरों में बदल गया है जहां अनेक गाडियां, रेडियो, गाना–बजाना जोर शोर से चलता है, अधिक तीव्र ध्वनि सुनना कान को बहुत सी दिक्कत देता है, अधिक तीव्र गाना सुनने से भी कान के परदे कमजोर हो जाते है या कान के परदे फट जाते है। जनसंख्या के बढ़ने के कारण सड़को पर गाड़ियों के ट्रैफिक से होने वाला ध्वनि प्रदूषण भी एक कान से कम सुनाई देने का कारण बन सकता है।
6 दवाइयों का साइडइफेक्ट्स:
कुछ दवाओं, केमोथेरेपी, या अन्य आयुर्वेदिक दवाओं का उपयोग करने से भी कान की सुनने की क्षमता कमजोर हो सकती है। किसी भी दवाइ का प्रयोग करने से पहले अच्छे डॉक्टर से सलाह लेना आवश्यक है।
एक कान से कम सुनाई देने की समस्या को ठीक कैसे करें:
एक कान से कम सुनाई देने की समस्या को ठीक करने के लिए, पहले तो आपको एक प्रशिक्षित ईएनटी (Trained ENT) डॉक्टर से मिलना और विशेषज्ञ से राय लेना चाहिए। डॉक्टर आपकी समस्या के कारण का पता लगाने के लिए विभिन्न जांचें करेंगे और उचित उपचार का सुझाव देंगे।
हालाकि नीचे बताएं कुछ सामान्य कदम आपकी समस्या को ठीक करने में मदद कर सकते हैं, लेकिन ध्यान दें कि ये केवल सामान्य सुझाव हैं और कुछ गंभीर स्थितियों में डॉक्टर के साथ परामर्श करना बहुत जरूरी है।
1 दवाएँ:
एक कान से कम सुनाई देने जैसी समस्या का इलाज मुमकिन है इसके लिए डॉक्टर द्वारा सलाहित दवाओं का उपयोग करना बहुत जरूरी है। कुछ स्थितियों में, इन्फेक्शन या सूजन के कारण होने वाली कम सुनाई देने की समस्या को दवाइयों से ठीक किया जा सकता है और कुछ ऐसी समस्याएं है जिन्हे ठीक करना इतना आसान नहीं जिसके लिए सर्जरी यानी ऑपरेशन करना जरूरी हो जाता है।
2 डॉक्टर के साथ परामर्श:
कुछ समस्याएं जिनमे ऑपरेशन करना पड़े ऐसी समस्या को ठीक करने के लिए एक प्रशिक्षित ईएनटी डॉक्टर को अपनी समस्या के बारे में और जांच के लिए दर्शाने के लिए देखाना चाहिए ताकि वह आपकी मेडिकल हिस्ट्री को समझ सके और आपका इलाज अच्छे से कर सके।
3 कान की नियमित सफाई:
जादातर एक कान से कम सुनाई देने का कारण कान में जमी गंदगी होती है समय समय पर कान की सफाई करते रहे, ऐसा करने से कान में होने वाले इन्फ़ैकशन से बचा जा सकता है। इसके लिए आप विभिन्न तरीको का इस्तेमाल कर सकते है।
- कान में जमी गंदगी को निकालने के लिए आप wax softening ear drops का इस्तेमाल कर सकते है इसके इस्तेमाल से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर ले।
- यदि प्रोफेशनल सफाई की बात की तो यह ज्यादातर वैक्यूम सक्शन (vacuum suction) तकनीक या नरम खुरच (curette) का उपयोग करके किया जाता है। यदि आप यह स्वयं करना चाहते हैं तो सावधानी बरतें और डॉक्टर से सलाह लें।
4 कान की नियमित जांच:
यदि आपकी समस्या कान से आँखों, नाक, या गले से जुड़ी हुई है, तो आपको नियमित जांच करवानी चाहिए, यह कुछ ऐसे अंग है जो एक दूसरे से जुड़े हुए होते है। यह समस्या अन्य शारीरिक समस्याओं की सूचना हो सकती है इसलिए नियमित जांच करवाना अति आवश्यक है।
5 ओडियोलॉजिस्ट जांच:
डॉक्टर द्वारा ऑडियोलॉजी जांच कराना, जो आपकी सुनने की क्षमता को मापती है इससे यह नापा जाता है की कही आपके दोनो कानो से आपको बराबर सुनाई देने की जगह कम या जादा तो सुनाई नही दे रहा और दिक्कत का पता चलने पर उचित उपचार का सुझाव देती है।
घरेलू उपाय
1 इसके लिए एक बहुत ही अच्छा उपाय है लहसुन और सारसो का तेल, इन दोनों को आपस में मिला कर इसके 2 से 3 बूंद कान में डाले इससे आपकी कान से जुड़ी समस्या खत्म हो जाएगी। लहसुन में एंटीबेक्टीरियल और एंटी-इन्फ़्लामेट्रि प्रोपर्टिस पाई जाती है जो किसी भी तरह के इन्फ़ैकशन को होने से रोकता है।
2 दूसरा घरेलू उपाय है एप्पल साइडर विनेगर (apple cider vinegar) इसके 3 से 4 बूंद कानो में डालने से कान से संबन्धित समस्या खत्म हो जाएगी। इसके इस्तेमाल से कान के दर्द में भी आराम मिलेगा। इसके इस्तेमाल से डॉक्टर की सलाह जरूर ले क्योंकि किसी को इसके इस्तेमाल से साइड इफफेक्ट भी हो सकते है।
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इसके अलावा अपने कानो की सुरक्षा के लिए, तेज ध्वनियों की भरमार से बचना और ध्वनियों का वॉल्यूम कम या सुरक्षित सीमा के भीतर रखना महत्वपूर्ण है। ज्यादा तेज़ ध्वनि स्तर या लंबे समय तक ध्वनि के निकट रहने से एक कान से कम सुनाई देने जैसी समस्या हो जाती है जो आगे चलके आपके जीवन के लिए हानिकारक हो सकता है।
एक कान से कम सुनाई देना आगे चलकर एक गंभीर समस्या बन सकता है जो आपके स्वास्थ्य पर और जीवन पर गहरा असर डाल सकता है इसलिए इसका सही समय पर पता लगाना और इलाज करवाना बहुत जरूरी है। अगर आपको लगता है की आपको एक कान से कम सुनाई देने की समस्या है तो आज ही अपने नजदीकी ENT डॉक्टर से संपर्क करें और अपना इलाज शुरू करवाएं।
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